मध्य प्रदेश की इन जगहों पर जाए बिना अधूरी है आपकी यात्रा

मध्य प्रदेश, भारत का दूसरा सबसे बड़ा राज्य है। इसे भारत के हृदय के रूप में जाना जाता है। इस राज्य का समृद्ध इतिहास, भौगोलिक स्थिति, प्राकृतिक सुंदरता, इसकी सांस्कृतिक विरासत और लोग इसे सर्वश्रेष्ठ पर्यटन स्थलों में से एक बनाते हैं। मध्य प्रदेश में पर्यटकों को खाने−पीने से लेकर घूमने और शॉपिंग करने व इतिहास को करीब से जानने का मौका मिलता है। इस राज्य में ग्वालियर के प्राचीन किलों को देखने से लेकर खजुराहो के मंदिरों की वास्तुकला को देखने तक, वास्तविक भारत की खोज की जा सकती है। आज के इस लेख में हम आपको मध्य प्रदेश की कुछ ऐसी जगहों के बारे में बताने जा रहे हैं, जिनके बिना मध्य प्रदेश पर्यटन अधूरा है - 

ओरछा
ओरछा, मध्य प्रदेश में बेतवा नदी के तट पर स्थित एक ऐतिहासिक शहर है। इस शहर को प्रसिद्ध रूप से 'महलों के शहर' के रूप में जाना जाता है। ओरछा, अपने भव्य महलों और जटिल नक्काशीदार मंदिरों के लिए प्रसिद्ध है। यह बुंदेल शासकों के स्मरण के लिए बनाए गए भित्ति चित्रों, फ्रेस्कोस और छत्रिस (सेनोटाफ्स) के लिए विश्व प्रसिद्ध है। बुंदेला राजपूत प्रमुख द्वारा 1501 में स्थापित, ओरछा का शाब्दिक अर्थ है 'छिपी हुई जगह'। यह भारत में बुंदेलों पर शासन करने वाले सबसे शक्तिशाली राजवंशों में से एक था। ओरछा के महलों और मंदिरों की मध्ययुगीन वास्तुकला, यहाँ आने वाले पर्यटकों को मंत्रमुग्ध करती है। 

ग्वालियर
ग्वालियर, मध्य प्रदेश के सबसे प्रसिद्ध पर्यटन स्थलों में से एक है। यह शहर हर लिहाज से कला, संस्कृति और इतिहास में समृद्ध है। यह शहर मध्य प्रदेश पर्यटन का एक प्रमुख हिस्सा है और वास्तुशिल्प चमत्कारों और ऐतिहासिक मील के पत्थर का एक आदर्श मिश्रण है। शहर का सबसे लोकप्रिय पर्यटक आकर्षण ग्वालियर का किला भारत के सर्वश्रेष्ठ किलों में से एक है। यहां पर आप ग्वालियर किले को देखने के अलावा सासबहू मंदिर में जाएं, पाटनकर और सर्राफा बाज़ारों में खरीदारी करें और गुजरी महल पुरातत्व संग्रहालय में समय बिताएं।

खजुराहो
मध्य प्रदेश में स्थित खजुराहो भारत के सबसे प्रसिद्ध ऐतिहासिक स्थलों में से एक है। यह यूनेस्को की विश्व धरोहर स्थल है जो अपने कामुक नक्काशी से सजे आश्चर्यजनक मंदिरों के लिए दुनिया भर में जाना जाता है। बुंदेलखंड क्षेत्र में स्थित एक छोटा शहर, खजुराहो मध्ययुगीन काल में भारतीय वास्तुकला और इसकी संस्कृति का शानदार उदाहरण है। इन हिंदू और जैन मंदिरों की वास्तुकला प्रेम के कामुक रूपों को दर्शाती है। चंदेला शासन के दौरान 10वीं से 12वीं शताब्दी के दौरान 200 वर्षों में मंदिर का निर्माण किया गया था। 

इंदौर 
मध्य प्रदेश के मालवा पठार पर बसा इंदौर, यहाँ आने वाले पर्यटकों के लिए आकर्षण का केंद्र है। इंदौर मध्य प्रदेश का सबसे बड़ा शहर है और इसका एक समृद्ध अतीत है। इस शहर में 18वीं सदी का प्रसिद्ध मंदिर है जो भगवान इंद्रेश्वर को समर्पित है। इंदौर का नाम इंद्र देवता के नाम पर पड़ा है। इंदौर को मध्य प्रदेश का दिल भी कहा जाता है। इंदौर, भारत के सबसे स्वच्छ शहरून की सूची में सबसे ऊपर है। यह शहर अपनी नदियों, शांत झीलों और ऊंचे पठारों से एक लुभावना दृश्य पेश करता है। यह शहर दो नदियों, खान और सरस्वती नदी के संगम का बिंदु है।

उज्जैन 
उज्जैन भारत के मध्य प्रदेश राज्य का एक प्रमुख शहर है जो क्षिप्रा नदी या शिप्रा नदी के किनारे पर बसा है। यह एक अत्यन्त प्राचीन शहर है। यह विक्रमादित्य के राज्य की राजधानी थी। ये जगह अपनी कालिदास नदी के लिए भी प्रसिद्ध है जो इसे कालिदास की नगरी के नाम से भी जाना जाता है। यहाँ हर 12  वर्ष पर सिंहस्थ महाकुंभ मेला लगता है। भगवान शिव के 12 ज्योतिर्लिंगों में एक महाकाल इस नगरी में स्थित है।